आध्यात्मिक ज्ञान मे आज आप देखे एक आवश्यक जानकारी-डा०-दिनेश कुमार शर्मा एडीटर एम.बी.न्यूज-24💐💐💐💐

*रेडियो तरंगे सभी दिशाओं में सभी के घरों में एवं घरों के बाहर भी सदैव व्याप्त है।*

इन रेडियो तरंगों में वह सारे के सारे प्रोग्राम सहित है एवं उपलब्ध है।

किंतु जब तक आप अपने रेडियो के स्टेशन को कनेक्ट नहीं करते एवं ब्रॉडकास्टिंग स्टेशन से कनेक्ट नहीं करते तब तक आप उन प्रोग्राम स्कोर सुन भी नहीं सकते।

यह एक साधारण सत्य है माना कि रेडियों की तरंगे सदैव उपलब्ध हैं किंत।

बिना रेडियो ऑन किए हुए कोई भी उसका अनुभव नहीं कर सकता।

टेलीविजन के सारे प्रोग्राम आपके कमरे में सदैव उपलब्ध हैं किंतु बिना TV सेट वाईफाई की सहायता के आप उन प्रोग्राम स्कोर नहीं देख सकते।

*एक भौतिक संसार में भी इन भौतिक उपकरणों की सहायता के बिना लोग काफी विषयों को होते हुए भी नहीं देख सकते।*

फिर भगवान को देखने का प्रयास इस प्रकार से क्यों करते हैं।

*भगवान को देखने का यंत्र है भगवान के प्रति अनन्य भक्ति जिनके हृदय में भक्ति नहीं है जिनकी आंखों में भगवान के प्रति प्रेम नहीं है।*

वह भगवान को भगवान के मंदिर में भी नहीं देख सकेंगे। उन्हे तो पत्थर नजर आएंगे भाव पैदा करना होगा

एवं जिनकी आंखों में भगवान के प्रति श्रद्धा है वह भगवान को एक खंबे में ,भी एक पेड़ में भी एवं एक पर्वत पर भी देखते हैं।

उदाहरण स्वरूप✍🏻 एक अमरूद के पेड़ पर दो तोता बैठे हुए हैं एक तोता अमरुद को खा रहा है जिससे उसके खाने से वह फल मीठा हो जाता है और जो दूसरा तोता बैठा है वह अमरूद को केवल देख रहा है उसके देखने से उसे फल पर कोई फर्क नहीं पड़ा इसी प्रकार हम अपनी चेतना आत्मा को अगर कृष्ण की सेवा में लगाएंगे तो जीवन आनंद में होगा अन्यथा कृष्ण का दास बिंदास माया का दास सदा उदास

भक्ति वेदांत शील प्रभुपाद ने बतलाया भगवान को हम सिर्फ भक्ति एवं प्रेम के द्वारा देख सकते हैं।

*यह भक्ति एवं प्रेम भगवान के दिव्य नामों का अनवरत निरपराध जप करने से प्राप्त होता है। जो इस कलि काल मे भक्तो के संग द्वारा प्राप्त किया जा सकता है
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सतयुग में ध्यान
त्रेता में यज्ञ
द्वापर में पूजन
और कलयुग में महामंत्र का जप करने मात्र से ही जीवों का उद्धार हो जाएगा।
*सदा जपे महामंत्र*
हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे

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